साक्षी की 'Witness' पर वार-पलटवार: बबीता बोलीं- किताब के चक्कर में ईमान बेच गई दीदी, हरियाणा BJP अध्यक्ष बड़ौली बबीता के पक्ष में उतरे

Sakshi Malik Book Witness: रेसलर साक्षी मलिक की आत्मकथा 'विटनेस' लगातार सुर्खियों में है। साक्षी ने अपनी आत्मकथा में कई ऐसे दावे किए हैं, जिसपर लगातार प्रतिक्रिया सामने आ रही है। साक्षी की ऑटोबायोग्राफी से मचा विवाद थम नहीं रहा है।

By  Md Saif October 23rd 2024 12:31 PM -- Updated: October 23rd 2024 01:09 PM

ब्यूरो: Sakshi Malik Book Witness: रेसलर साक्षी मलिक की आत्मकथा 'विटनेस' लगातार सुर्खियों में है। साक्षी ने अपनी आत्मकथा में कई ऐसे दावे किए हैं, जिसपर लगातार प्रतिक्रिया सामने आ रही है। साक्षी की ऑटोबायोग्राफी से मचा विवाद थम नहीं रहा है। साक्षी ने अपनी आत्मकथा में आरोप लगाया था कि बीजेपी नेता बबीत फोगाट ने ही उन्हें कुश्ती संघ के तत्कालीन अध्यक्ष बृजभूषण के खिलाफ आंदोलन के लिए उकसाया था, क्योंकि बबीत को संघ का अध्यक्ष बनना था। अब इसपर बीजेपी नेता बबीता फोगाट और प्रदेश बीजेपी के अध्यक्ष मोहन लाल बड़ोली बयान सामने आया है।


साक्षी मलिक की AUTOBIOGRAPHY से 'हंगामा हैं क्यों बरपा' !


बबीता फोगाट ने साक्षी मलिक पर पलटवार करते हुए एक्स पर लिखा "खुद के किरदार से जगमगाओं उधार की रोशनी कब तक चलेगी किसी को विधानसभा मिला किसी को मिला पद, दीदी तुमको कुछ न मिला हम समझ सकते है तुम्हारा दर्द। किताब बेचने के चक्कर में अपना ईमान बेच गई।"

वहीं हरियाणा बीजेपी के अध्यक्ष मोहनलाल बड़ोली ने बबीता फोगाट को एक ईमानदार और मेहनती बताया। बड़ोली ने बबीता फोगाट का पक्ष लेते हुए कहा- "बबीता फोगाट एक ईमानदार,मेहनती और साफ छवि की नेता हैं। मैं खिलाड़ी होने के नाते सभी खिलाड़ियों को यह कहना चाहूंगा की एक अच्छी सोच के साथ आगे बढ़ें, नेगेटिव आरोप प्रत्यारोप लगाने से बचें।"


साक्षी ने अपनी आत्मकथा में बबीता फोगाट, विनेश फोगाट और बजरंग पुनिया को लेकर कई दावे किए हैं। आपको बता दें कि विनेश कांग्रेस में शामिल होकर जुलाना सीट से विधायक बन चुकी हैं। बजरंग पूनिया को कांग्रेस ने ऑल इंडिया किसान कांग्रेस का वाइस चेयरमैन बनाया है। वहीं बबीता बीजेपी हरियाणा की बड़ी नेता हैं।


साक्षी की आत्मकथा में बबीता पर आरोप, बचाव में आए बयान

बबीता एक साफ छवि की नेता हैं- मोहनलाल बड़ोली

हरियाणा बीजेपी के अध्यक्ष मोहनलाल बड़ोली ने बबीता फोगाट को एक ईमानदार और मेहनती बताया। बड़ोली ने बबीता फोगाट का पक्ष लेते हुए कहा- "बबीता फोगाट एक ईमानदार,मेहनती और साफ छवि की नेता हैं। मैं खिलाड़ी होने के नाते सभी खिलाड़ियों को यह कहना चाहूंगा की एक अच्छी सोच के साथ आगे बढ़ें, नेगेटिव आरोप प्रत्यारोप लगाने से बचें।"


साक्षी कांग्रेस की भाषा में बोल रही हैं- महावीर फोगाट

इसके बाद महावीर फोगाट का भी रिएक्शन आया है। साक्षी मलिक द्वारा बबीता फोगाट पर डब्ल्यूएफआई का अध्यक्ष बनने के आरोपों पर द्रोणाचार्य अवार्डी महावीर फोगाट ने कटाक्ष किया। उन्होंने कहा, "साक्षी मलिक कांग्रेस की भाषा में बोल रही हैं, बबीता ने खिलाड़ियों का समझौता करवाने की पैरवी की थी, धरने पर समर्थन में मैं भी गया था। चुनाव के बाद प्रियंका गांधी व दीपेंद्र हुड्डा ऐसे बयान साक्षी मलिक के माध्यम से बुलवा रहे हैं। बबीता का डब्ल्यूएफआई अध्यक्ष बनने का कोई इरादा नहीं था, बबीता उस समय खिलाड़ियों के पक्ष में थी। सरकार के माध्यम से खिलाड़ियों की मांगें मनवाई गई और मामला कोर्ट में विचाराधीन है।"


अध्यक्ष पद का लालच किसे है, सभी  को पता है- बहन गीता  फोगाट

बबीता फोगाट की बहन और स्टार पहलवान गीता फोगाट ने कहा है कि कई खिलाड़ी के नाम पर अपनी राजनीति चमकाने की कोशिश करते रहते हैं, बबीता ने कुश्ती में या राजनीति जो भी मुकाम हासिल किया है, वह अपनी मेहनत और ईमानदारी के बलबूते पर किया है। अध्यक्ष बनने की तो सब जानते है अध्यक्ष बनने का लालच किसके अंदर था। 


'विटनेस' पर किसने क्या प्रतिक्रिया दी

पूर्व सांसद बृजभूषण शरण सिंह

पूर्व सांसद बृजभूषण शरण सिंह ने कहा- पहलवानों ने कांग्रेस के इशारे पर लालच में आकर आंदोलन को शुरू किया था। इसके लिए परमिशन पहलवानों ने खुद नहीं ली थी, भाजपा नेता बबीता फोगाट ने इन लोगों को दिलाई थी। बबीता फोगाट ने इन लोगों को लालच दिया था कि हम कुश्ती संघ के अध्यक्ष बन जाएंगे या दीपेंद्र हुड्डा बन जाएंगे, तो हम लोगों का कुश्ती संघ पर राज हो जाएगा। लेकिन, हमने ऐसा होने नहीं दिया।


विनेश फोगाट

कांग्रेस की टिकट से विधायक बन चुकीं विनेश फोगाट ने सोशल मीडिया पर पोस्ट किया, जिसमें लिखा- "जो कुछ भी आप सुनते हैं, उस पर विश्वास मत करो। एक कहानी के हमेशा तीन पहलू होते हैं। आपका, उनका और सच।"


साक्षी मलिक की आत्मकथा ने किए 4 बड़े खुलासे

1. विनेश फोगाट और बजरंग पुनिया ने लालच में आकर ट्रायल्स से छूट ली थी

पहलवान साक्षी मलिक की तरफ से आत्मकथा में कहा गया कि रेसलर प्रोटेस्ट के कारण संघ को सस्पेंड कर दिया गया। जिसके बाद कामकाज एडहॉक कमेटी देखने लगी। जिससे बजरंग और विनेश को साल 2023 के एशियाई खेलों के ट्रायल्स में छूट दी गई। उस समय मुझे भी मेल करने को कहा गया था, लेकिन मैंने मना कर दिया था। विनेश और बजरंग ने कुछ लोगों को प्रभावित किया। बजरंग और विनेश के ट्रायल्स से छूट लेने का अच्छा असर नहीं पड़ा। इससे हमारे विरोध प्रदर्शन की छवि बुरी तरह प्रभावित हुई। इससे हम ऐसी स्थिति में पहुंच गए, जिसमें कई समर्थकों ने यह सोचना शुरू कर दिया कि हम अपने स्वार्थ के लिए यह विरोध कर रहे हैं। 


2. मुझे तो जंतर मंतर जाकर पता चला था कि प्रोटेस्ट करने वाले हैं

रेसलर प्रोटेस्ट से पहले एक जगह हमारी बैठक हुई थी। तब मुझे बबीता का फोन ये पूछने के लिए आया था कि क्या मैं आ रही हूं। मैंने तब बजरंग को फोन किया तो बजरंग ने मुझे कहा कि मैं भी जा रहा हूं, तू भी आ जा। तब हमें पता चला कि प्रदर्शन होने वाला है और इसकी परमिशन हमें बबीता और तीर्थ राणा ने दिलाई है। वह चाहते थे कि बृजभूषण हट जाए और हम में से कोई एक वहां बैठे। हमें लग रहा था कि हम 11 बजे सुबह वहां बैठेंगे और 1 बजे तक हमारी सुनवाई पूरी हो जाएगी। लेकिन आंदोलन लंबा चला। 


3. विनेश के साथ ओलंपिक में कोई साजिश नहीं हुई थी

साक्षी मलिक की मानें तो पेरिस ओलंपिक में विनेश फोगाट के साथ कोई साजिश नहीं हुई थी। 100 ग्राम क्या 10 ग्राम ज्यादा होने पर भी UWW का नियम परमिशन नहीं देता। हां, इतना जरुर है कि विनेश ने वजन कम करने के लिए बाल काटे, कॉस्ट्यूम छोटे किए। मैं भी उस दिन विनेश को देखकर कई बार रोई थी।


4. बचपन में ट्यूशन टीचर ने छेड़ा तो लगा यह मेरी ही गलती

साक्षी मलिक ने बताया कि बचपन में ट्यूशन देने वाले टीचर ने मुझसे छेड़छाड़ की थी। लेकिन इस बारे में मैं अपने पेरेंट्स को नहीं बता सकी, क्योंकि मुझे लगा मेरी गलती थी।

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