रणदीप सुरजेवाला ने केंद्र सरकार पर MSP खत्म करने का लगाया सनसनीखेज़ आरोप !

चंडीगढ़ में प्रेस क्लब में पत्रकार वार्ता के दौरान सुरजेवाला ने आरोप लगाया कि केंद्र और हरियाणा की नायब सरकार, साथ में पंजाब की भगवंत मान सरकार भी, हरियाणा पंजाब के किसानों, खेतीहर मजदूरों, आढ़तियों, मंडी मज़दूरों और राइस मिल मालिकों के साथ धोखा कर रही है

By  Baishali October 29th 2024 02:44 PM
रणदीप सुरजेवाला ने केंद्र सरकार पर MSP खत्म करने का लगाया सनसनीखेज़ आरोप !

चंडीगढ़ ब्यूरो: कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव व वरिष्ठ नेता रणदीप सिंह सुरजेवाला ने MSP को लेकर केंद्र व हरियाणा पंजाब की राज्य सरकारों पर बड़े और संगीन आरोप लगाए हैं. आज चंडीगढ़ में प्रेस क्लब में पत्रकार वार्ता के दौरान सुरजेवाला ने आरोप लगाया कि केंद्र और हरियाणा की नायब सरकार, साथ में पंजाब की भगवंत मान सरकार भी, हरियाणा पंजाब के किसानों, खेतीहर मजदूरों, आढ़तियों, मंडी मज़दूरों और राइस मिल मालिकों के साथ धोखा कर रही है. सुरजेवाला ने दावा किया कि भाजपा इन्हें किसान आंदोलन की सज़ा दे रही है. 


सुरजेवाला ने प्रेसवार्ता के कुछ दावे किए, जो इस प्रकार हैं: 

  o   ‘‘फूड व फर्टिलाईज़र सब्सिडी’’ को ही काट दिया जाए।

o   MSP पर धान की फसल खरीदी न कर MSP को चोर दरवाजे से खत्म कर दिया जाए।

o   हरियाणा-पंजाब के किसानों की MSP पर धान खरीद के रजिस्ट्रेशन में ही कटौती कर दी जाए।

o   हरियाणा-पंजाब की खेती को कम करने के लिए डीएपी-यूरिया खाद उपलब्ध न करवाई जाए।

o   मंडी के आढ़ती की रोजी-रोटी पर हमला करो - आढ़ती का कमीशन 2.5 प्रतिशत से काटकर 46 रुपया क्विंटल कर दो, ताकि धीरे-धीरे काम बंद हो जाए।

o   राईस मिलर के व्यवसाय में गतिरोध पैदा करो ताकि वो MSP पर खरीदे किसान के धान की खरीद व मिलिंग ही कम मात्रा में करें।  



इसके साथ ही रणदीप सिंह सुरजेवाला ने दावा किया कि हरियाणा में धान खरीद 15 नवंबर को बंद हो जाएगी। 1 नवंबर तक त्योहार का सीज़न है। 14 दिन में 22 लाख मीट्रिक टन धान खरीदना असंभव है। नतीजा साफ है, MSP पर धान खरीदी होगी ही नहीं।

पंजाब सरकार पर आरोप के तथ्य कुछ इस प्रकार दिए गए: 

o   पंजाब में पिछले साल धान की खरीद हुई     = 1,11,03,434 मीट्रिक टन

पंजाब में 29 अक्टूबर तक धान की खरीद हुई   =   49,84,353 मीट्रिक टन

यानी, 29 अक्टूबर तक धान की खरीद कम हुई   =   61,19,081 मीट्रिक टन

यानी पिछले साल के मुकाबले में अब तक आधी खरीद भी नहीं हुई।


o   साल 2023-24 पंजाब में MSP खरीद के लिए रजिस्टर्ड किसानों की संख्या = 7,97,659

साल 2024-25 पंजाब में MSP खरीद के लिए रजिस्टर्ड किसानों की संख्या       = 3,21,851

1 साल में ही MSP खरीद पर कम हुए रजिस्टर्ड किसानों की संख्या                  = 4,75,808

MSP पर धान बेचने वाले किसानों की संख्या 60 प्रतिशत कम कैसे हो सकती है? यह अपने आप में षडयंत्र को उजागर करता है।



सुरजेवाला ने प्रेसवार्ता के दौरान आरोप लगाया कि हरियाणा-पंजाब के आढ़तियों की रोजी-रोटी पर सिलसिलेवार हमला बोला जा रहा है ताकि बिहार की तर्ज पर मंडियाँ बंद हो जाएं और किसानों को फसल अडानी जैसी कंपनियों के साईलो पर बेचनी पड़े।

सुरजेवाला के मुताबिक हरियाणा-पंजाब में लगभग 9,000 से अधिक राईस मिलर हैं। इनमें से अधिकतर PDS राइस मिलिंग का काम करते हैं। भाजपा सरकार व पंजाब-हरियाणा की सरकारों ने अलग-अलग हाइब्रिड किस्म का धान किसान को बिकवाया, विशेषतः पीआर-126 किस्म का धान पंजाब सरकार ने बिकवाया। भाजपा सरकार के नॉर्म्स के मुताबिक राईस मिलर को पीडीएस का धान 1 क्विंटल पर 67 प्रतिशत सरकार को देना है। पर राईस मिलर एसोसिएशन के मुताबिक यह 62 प्रतिशत से अधिक नहीं हो सकता। मोदी सरकार ने धान के पूरे सीज़न में इसका कोई हल नहीं निकाला व धान की बिक्री के बाद इसकी जाँच बारे एक कमिटी बैठा दी। न रिपोर्ट आई, न गतिरोध समाप्त होगा, और न ही किसान की फसल MSP पर खरीदी जाएगी।




पत्रकारवार्ता के दौरान सुरजेवाला ने केंद्र व हरियाणा-पंजाब की सरकारों ने जवाब तलब करते हुए कहा है कि इस किसान - खेत मजदूर - आढ़ती - मंडी मजदूर - राईस मिलर विरोधी षडयंत्र और MSP खत्म करने की साजिश का जवाब दिया जाए. 


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