Himachal: NPS कर्मचारियों को केंद्रीय कर्मियों की तर्ज पर मिलेगा डीए का लाभ, आदेश जारी
हिमाचल प्रदेश में एनपीएस कर्मचारियों को केंद्रीय कर्मियों की तर्ज पर डीए का लाभ मिलेगा। सुक्खू सरकार ने इस बारे बड़ा फैसला लिया है।
ब्यूरो: हिमाचल प्रदेश में एनपीएस कर्मचारियों को केंद्रीय कर्मियों की तर्ज पर डीए का लाभ मिलेगा। सुक्खू सरकार ने इस बारे बड़ा फैसला लिया है। वित्त विभाग के प्रधान सचिव ने आदेश जारी किए हैं। सरकार के इस फैसले से एनपीएस में शामिल बिजली बोर्ड के कर्मचारियों के साथ-साथ प्रथम श्रेणी अधिकारियों खातसौर पर ओपीएस का विकल्प न चुनने वाले अधिकारियों को वित्तीय लाभ होगा।
वित्त विभाग की ओर से यह स्पष्ट नहीं किया गया है कि एनपीएस कर्मियों को डीए के तौर पर कितनी धनराशि का भुगतान सुनिश्चित होगा और कब इसकी अदायगी होगी। इस बारे में वित्त विभाग की ओर से शीघ्र ही स्थिति स्पष्ट किए जाने की संभावना है। बाजार आधारित एनपीएस पैंशन योजना लेने वालों में प्रदेश सरकार के आईएएस, आईपीएस और आईएफएस अधिकारी भी शामिल हैं।
एनपीएस कर्मचारियों की ओर से सरकार को अवगत करवाया गया था कि 12 फीसदी डीए कम मिलने के कारण प्रदेश सरकार की ओर से दिया जाने वाला अंशदान भी कम है तथा कुल वेतन व भत्तों को जोड़कर मिलने वाले ब्याज का भी नुक्सान हो रहा है। इसको देखते हुए सरकार ने एनपीएस कर्मियों की मांग को मानते हुए उनको 12 फीसदी डीए देने की अधिसूचना जारी की है, जिसका खर्च प्रदेश सरकार वहन करेगी।
हिमाचल प्रदेश के कर्मचारी व पेंशनरों को वेतन एवं पेंशन की अदायागी के बाद राज्य सरकार 600 करोड़ रुपए का और कर्ज लेने के लिए आवेदन कर रही है। कर्ज की यह राशि 10 वर्ष की अवधि के लिए ली जाएगी जिसके लिए नीलामी प्रक्रिया पूरी करने के बाद 16 अक्तूबर को ऋण राशि सरकारी कोष में जमा हो जाएगी। सुक्खू सरकार के पास अब दिसम्बर, 2024 तक 1217 करोड़ रुपए कर्ज लेने की छूट है। इस कर्ज को लेने के बाद अब राज्य सरकार पर करीब 89189 करोड़ रुपए कर्ज चढ़ जाएगा।
मौजूदा वित्तीय हालात को देखते हुए राज्य सरकार ने सितंबर माह में कर्मचारियों का वेतन 5 और पेंशन 10 तारीख को तथा अक्तूबर माह का वेतन 1 व पेंशन 9 तारीख को दी थी। वित्त विभाग ने अब अगले माह वेतन और पेंशन की अदायगी के लिए कसरत शुरू कर दी है। वित्त विभाग को इसके लिए 2000 करोड़ रुपए जुटाने हैं। यानी वेतन के लिए 1200 करोड़ रुपए और पेंशन के लिए 800 करोड़ रुपए चाहिए। वित्त विभाग इसको लेकर इस माह के अंतिम सप्ताह में समीक्षा करेगा।